
जलन की पहली चिंगारी: सुनो-सुनो! वही शिल्पा शिरोडकर, जिन्होंने अपनी साड़ी की चमक से नहीं बल्कि अफवाहों की धुआं-धार से तमाशा पैदा किया है। हाँ जी, वही वाली, जिनकी ‘मौत’ को लेकर ऐसी अफ़वाह उड़ाई गई कि कहीं हम ट्रैफिक जाम न हो जाए हमारी गली में! WhatsApp वाली बुआ बोली, “अरे, शिल्पा की तो 25 मिस्ड कॉल्स आ गईं, कोई समझ नहीं पाया कि सच में जली फूंसी हो या कोई फिल्म की चाल।” उफ़्फ, मेरी तो जलन-जलेबी घुल गई, इतना ड्रामा देख के मनो जूरीकंडीशनर भी पिघल गया।
गुड्डू की मम्मी का मुँह 180° टेढ़ा: अब सोचिए, जब हमारी शिल्पा आंटी ने बताया कि ये सभी अफवाहें फिल्म की प्रमोशन के लिए रची गई थीं, तो पड़ोसी आंटी की क्या हालत हुई होगी? “ये तो विज्ञापन का नया तरीका निकाला है, मरते मरते भी सेल्फ़ प्रमोशन!” कहते हुए उनकी जुबान फिसल ही गई। शिल्पा की साड़ी की वो चमक अब कहीं पीछे छूट गई क्योंकि ये ड्रामा कोई आम बात नहीं। ये तो है के नहीं?
इन्फ्लुएंसर्स vs. आम आदमी—कौन जले ज़्यादा? सोशल मीडिया पे तो खबर फैली जैसे पटाखा फूटे हो—अचानक से हर तरफ बस सवाल, “शिल्पा शिरोडकर जीवित है या फिर हम सब झूठे थे?” और इंस्टाग्राम पे उनके #NotDead टैग से हमें पता चला कि जलन में भी एक स्पेशल कैटेगरी होती है। आंटी लोग कहती हैं, “अब तो सोशल मीडिया का नमक कम पड़ गया, यह ड्रामा डिजिटली जम गया!”
सोशल-मीडिया का नमक: अरे, ये कलाकार साहब लोग भी क्या निराले होते हैं। कत्तई भी सीरियस नहीं, बस एक तरकीब से धूम मचा देते हैं। पड़ोसन पिंकी का दिल जलता है, कि उसकी पौती की तो 50 लाइक्स भी नहीं मिलीं। और ये शिल्पा मैम 25 मिस्ड कॉल की खबर से हिडन एजेंडा चला रही हैं! इमोजी लगाएं तो 🤯, लेकिन एकदम मसालेदार।
आंटी लोगों की आख़िरी फूँ-फाँ: अब हम भी सोच रहे हैं, अगली बार जलन की ये आग किस किस्म का जलावत करेगी? कहीं हम भी तो कहीं छुप-छुप के ‘मृत्यु प्रमोशन’ न कर रहे हों! अभी से मेरी तो जलन की तंदूरी रोटियां जलने लगी हैं। [फुस्स…]
अंत में जलन-टच क्लोज़िंग: अब हम भी दही-शक्कर खाकर लाइक्स बटोरने चलें…
अगली ज़ोरदार जलन के लिए पढ़ते रहिए Jelousy News!